शिखा वार्ष्णेय जी की रचनाएं-
विश्वहिंदीजन चौपाल6:09:00 pm
हर पल ख्वाईशों में पर बांधा किये छू लेने को सितारों को उचका किये बांधे हाथों में चक्के पैरों में पहिये गिरे , पड़े , घुटने छिले...
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